ओला कम्पनी की डीलरशिप देने के बहाने रूपये हड़पने के मामले में बिहार से पकड़ा गया आरोपी
ओला कम्पनी की डीलरशिप देने के बहाने रूपये हड़पने के मामले में बिहार से पकड़ा गया आरोपी
रंजीत सिंह
जालौन। ओला कंपनी की डीलरशिप देने के बहाने ब्रांच मैनेजर बनकर महिला ने अपने साथी के साथ मिलकर किश्तों में 28 लाख रुपए खाते में जमा करा लिए। पीड़ित ने उक्त मामले में कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज की थी। एसओजी व पुलिस टीम की संयुक्त कार्रवाई में बिहार से आरोपी को पकड़ा गया जिसे न्यायालय में पेश किया गया जहां से उसे जेल भेजा गया।
कोतवाली क्षेत्र के मोहल्ला भवानीराम निवासी अरुण सिंह निरंजन ने कोतवाली में रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि उनके फेसबुक आईडी पर जून माह में ओला कंपनी की डीलरशिप लेने के लिए विज्ञापन आया था। जब उन्होंने विज्ञापन को सर्च किया तो करीब एक घंटे बाद उनके पास अनुष्का सिंह नाम की महिला का फोन आया। जिसमें उसने स्वयं को ओला कंपनी की बैंगलोर शाखा का ब्रांच मैनेजर बताया और डीलरशिप देने के संबंध में जानकारी दी। इसके बाद उसने सीनियर मैनेजर बताने वाले आलोक अग्रवाल से बात कराई। दोनों ने अपनी लुभावनी बातों में उन्हें फंसा लिया और डीलरशिप लेकर अच्छा व्यापार करने की बात कहकर एक एकाउंट में किश्तों में 28 लाख 20 हजार रुपए जमा करा लिए। भुगतान करने पर उक्त लोगों द्वारा ओला कंपनी के लेटर पैड पर भुगतान की रसीद भी पीडीएफ के माध्यम से उसके पास भेजी। इतनी बड़ी रकम भेजने के बाद जब उन्होंने डीलरशिप संबंधी कागज उक्त दोनों से मांगे तो वह उन्हें टहलाते रहे तब उन्होंने ओला कंपनी की बैंगलोर शाखा से संपर्क कियाजिसमें बताया गया कि अनुष्का सिंह व आलोक अग्रवाल नाम का कोई व्यक्ति कंपनी में कार्यरत नहीं है। ठगी का अहसास होने पर उन्होंने एकाउंट के संबंध में जानकारी की तो पता चला कि उक्त अकाउंट किसी अमजत अहमद के नाम है। बिहार के पटना से उनके द्वारा भेजी गई रकम की निकासी की गई। एसओजी व पुलिस जांच में पता चला कि उक्त मामले में आरोपी मनोज कुमार पुत्र भीष्मनारायण निवासी किश्तीपुर थाना धनेरुआ जिला पटना है। सूचना मिलने पर एसओजी टीम प्रभारी अर्जुन सिंह एवं एसआई रजत सिंह की टीम ने बिहार के नबादा से आरोपी युवक को पकड़कर न्यायालय में पेश किया जहां से उसे जेल भेज दिया गया।