किसानों की समृद्धि का आधार बनेगी जैविक खेती
कृषि विभाग व इश एग्रीटेक ने किया किसान मेला का आयोजन
कृषि विशेषज्ञों ने किसानों को दिये जैविक खेती के टिप्स
विवेक राय
दानगंज, वाराणसी। चोलापुर विकास खंड के अंतर्गत खेतों में अंधाधुंध व असंतुलित रसायनों का प्रयोग अब खतरनाक मोड़ पर है। यदि समय रहते हम सावधान नहीं हुए तो हरित क्रांति से उपजी खुशहाली का रंग फीका पड़ सकता है। ऐसे में यह जरूरी है कि किसान भाई धरती मां को स्वस्थ रखने व गुणवत्तायुक्त खाद्यान्न उत्पादन के लिए जैविक खेती को अपनाएं। उक्त सलाह क्षेत्र के मवइयां मे मंगलवार को आयोजित किसान मेला में चोलापुर ब्लाक के पूर्व ब्लाक प्रमुख त्रिभुवन नारायण सिंह ने किसानों को दी।
बतौर मुख्य अतिथि उन्होंने कहा कि भूमंडलीकरण के दौर में जैविक खेती ही किसानों की समृद्धि का आधार बन सकती है। कृषि विज्ञान केन्द्र के कृषि वैज्ञानिक डा. राहुल सिंह ने किसानों को मौसम के मिजाज को देखते हुए फसलों को पाला व झुलसा रोग से बचाने के तरीकों पर विस्तारपूर्वक चर्चा की। साथ ही जैविक खेती के लिए जरुरी जीवामृत, बीजामृत व घन जीवामृत बनाने व खेतों में प्रयोग करने के टिप्स दिये। उप कृषि निदेशक अखिलेश सिंह के आदेशानुसार किसान मेला का आयोजन कृषि विभाग व इश एग्रीटेक के संयुक्त तत्वावधान में किया गया। कृषि विशेषज्ञ रामलाल विश्वकर्मा ने किसानों को जैविक खेती के लिए उपयोगी देशी गाय के महत्व व गोमूत्र पर विस्तारपूर्वक चर्चा की।
नमामि गंगे योजना के प्रोजेक्ट हेड स्वामी शरण कुशवाहा ने किसानों को जंगली जानवरों से फसल सुरक्षा के लिए दशपर्णी अर्क का प्रयोग करने की सलाह दी। सहायक विकास अधिकारी कृषि कैलाश मौर्या व बीटीएम देवमणि त्रिपाठी ने कृषि विभाग की योजनाओं के साथ ही नमामि गंगे योजना पर विस्तारपूर्वक चर्चा की।कार्यक्रम की अध्यक्षता क्षेत्र के प्रगतिशील किसान विद्याशंकर पाण्डेय ने की। इस दौरान अलग नारायण सिंह, मदन मोहन चौबे, ओम प्रकाश गुप्ता, पंकज भास्कर, तकनीकी सहायक अर्चना सिंह, विशाल सिंह, अनामिका, शशिकला, कंचन मौर्य, सौम्या सिंह सहित भारी संख्या में किसान उपस्थित रहे। कार्यक्रम का संचालन देवमणि त्रिपाठी व धन्यवाद ज्ञापन स्वामी शरण मौर्या ने किया।
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