श्री देवी प्राण प्रतिष्ठात्मक उत्सव महायज्ञ को लेकर की गई जलभरी
श्री देवी प्राण प्रतिष्ठात्मक उत्सव महायज्ञ को लेकर की गई जलभरी
अमरेन्द्र कुमार मिश्र
आरा, बडहरा। भोजपुर जिले के बडहरा प्रखण्ड अन्तर्गत बडहरा गांव मे मंगलवार को माँ काली मंदिर जीर्णोद्धार के उपलक्ष्य में छः दिवसीय श्री देवी प्राण प्रतिष्ठात्मक उत्सव महायज्ञ का शुभारंभ श्री लक्ष्मी नारायण मंदिर के पुजारी आचार्य बासगीत त्रिपाठी जी महाराज के सानिध्य मे जलभरी शोभायात्रा के साथ की गई। जलभरी शोभायात्रा माँ काली मंदिर परिसर से हाथी घोडा ऊंट बैण्ड बाजा के साथ जय माता दी के गगनभेदी जयघोष के साथ सैंकडो की संख्या मे श्रद्धालु भक्तगण एकवना गंगा घाट पहुंचे जहां वैदिक मंत्रोच्चार के बीच कलश पूजन संकल्पादि के साथ जलभरी की गई तत्पश्चात कलश के जल माथे धर एकवना मठिया, एकवना गंज, कुइंया, सिरइसिया, रामपुर, पडरिया बडहरा ग्राम होते हुए यज्ञ मंडप के लिए प्रस्थान किये।
इस दौरान बडहरा प्रखण्ड मातारानी के जयघोष से भक्तिमय माहौल में डुबा रहा। वहीं महायज्ञ के मुख्य संरक्षक सह यजमान प्रवीण कुमार सिन्हा उर्फ झुनझुन द्वारा बताया गया कि यह महायज्ञ आज 16 अप्रैल से शुरू हुआ है जो 21 अप्रैल को हवनादि भण्डारा के साथ सम्पन्न होगा। वहीं उन्होंने बताया कि बुधवार को पंचांग पूजन एवं मंडप प्रवेश, गुरूवार को अग्नि स्थापना एवं चण्डीपाठ, शुक्रवार को अधिवासादि पूजन, शनिवार को माँ का नगर भ्रमण एवं पूजन तथा रविवार को मातारानी की प्राण प्रतिष्ठा हवन भण्डारा के साथ यज्ञ की पूर्णाहूति होगी। महायज्ञ के दौरान प्रतिदिन संध्या 6 बजे से राम लीला, रासलीला के साथ देवी जागरण का आयोजन किया जायेगा। मौके पर उपस्थित जन ने बताया कि माँ की महिमा अपरंपार है। माँ का यह मंदिर बहुत ही पौराणिक तथा ऐतिहासिक है। जो भी अपनी अर्जी मां के दरबार मे लगाता है उसकी सभी मनोकामना माता रानी की कृपा से पूर्ण हो जाती है। वहीं धर्मानुरागी भक्त कलशधारी ओम प्रकाश राय प्रधानाध्यापक सह संकुल समन्वयक उ.मा.वि. हदियाबाद सह मंदुरी ने माँ के स्वरूप पर प्रकाश डालते हुए कहा कि देवी काली मां दुर्गा का एक भयानक रूप है। वह ब्रह्मांड की दिव्य स्त्री ऊर्जा का प्रतीक मानी जाती है। मां काली बुराई का विनाश करती हैं और शक्तिशाली मानी जाती हैं। वह नश्वर हैं और राक्षसों और देवताओं द्वारा समान रूप से पूजनीय है जो उनके क्रोध का सामना करने से डरते हैं। माता काली की पूजा या भक्ति करने वालों को माता सभी तरह से निर्भीक और सुखी बना देती हैं। वे अपने भक्तों को सभी तरह की परेशानियों से बचाती हैं।आधुनिक तकनीक से करायें प्रचार, बिजनेस बढ़ाने पर करें विचार
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