Jaunpur News : व्यक्तित्व विकास में भावना की अहम् भूमिकाः प्रो. निर्मला एस. मौर्य
Jaunpur News : व्यक्तित्व विकास में भावना की अहम् भूमिकाः प्रो. निर्मला एस. मौर्य
अजय विश्वकर्मा
सिद्दीकपुर, जौनपुर। वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्विद्यालय के आईबीएम भवन में व्यक्तित्व विकास कार्यशाला में संवेगात्मक विकास पर चर्चा हुई। नैक मूल्यांकन के दृष्टिगत प्रो. निर्मला एस. मौर्य के निर्देश पर सांस्कृतिक परिषद के उप समन्वयक डा. रसिकेश ने एक प्रयोग के तौर पर प्रबंध अध्ययन संकाय में एक दिवसीय कार्यशाला आयोजित की। संरक्षक व मुख्य अतिथि प्रो. निर्मला एस. मौर्य ने श्री गणेश व माँ सरस्वती को माल्यार्पण व दीप प्रज्ज्वलन करके कार्यक्रम का शुभारंभ किया। तत्पश्चात् कहा कि भावनाओं को समझना और उनको जीना ही व्यक्तित्व विकास का प्रथम चरण है, इसलिए परिवार में इंसान खुद को सुरक्षित महसूस होता है।
प्रो. मौर्य ने डा. रसिकेश से भविष्य में इस तरह के कार्यक्रमों को कराने का निर्देश भी दिया। कार्यक्रम संयोजक व मुख्य वक्ता डा. रसिकेश ने कहा कि भावनाओं को रणनीतिक तरीके से संतुलित किया जा सकता है। कार्यक्रम में कहानी हाउस हाउस का मंचन किया गया। इसमें साक्षी दूबे, आनंद सिंह, अभिषेक यादव, आकांक्षा, शशिकांत पांडेय, सुप्रिया चौबे, हर्षित मिश्रा, गरिमा सिंह ने अपना रोल करके भावनाओं के विकास के महत्व को बताया। कार्यक्रम का संचालन अर्पिता सिंह ने किया। कार्यक्रम में निधि तिवारी व अनमोल साहू ने गणेश वंदना व सरस्वती वंदना प्रस्तुत किया। धन्यवाद ज्ञापन कार्यक्रम की इवेंट हेड अंकिता मिश्रा ने किया। कार्यक्रम में प्रो. मानस पांडेय, प्रो. अविनाश, डा. आशुतोष सिंह, डा. प्रमेन्द्र विक्रम सिंह, मनोज त्रिपाठी, अंजली यादव, साक्षी शर्मा, अलका अस्थाना, रितिक पांडेय, शीतल शर्मा सहित विभिन्न शिक्षक व छात्र उपस्थित थे।
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