प्राचीन सारनाथ महादेव मन्दिर में हजारों शिवभक्तों ने किया जलाभिषेक
कृष्णा सिंह/केजी वर्मा एडवोकेट
कछवां, मिर्जापुर। स्थानीय क्षेत्र के ग्राम पंचायत लरवक में स्थित प्राचीन सारनाथ महादेव मंदिर में सावन माह के आखिरी सोमवार को हजारों शिव भक्तों ने सारनाथ महादेव का बोल बम, हर हर महादेव, ॐ नमः शिवाय के जयकारों के साथ किया। शिवभक्तों ने बाबा को जलाभिषेक कर मन्नतें मांगी। भोर से ही शिवभक्त कतार में खड़े होकर अपने बारी का इंतजार करते रहे। सावन माह के आखिरी सोमवार पर कई शिवालयों में रुद्राभिषेक भी किया गया। शिवालयों में बोल बम का जयकारा गूंजता रहा। घन्टे और घड़ियाल से माहौल धार्मिक होता रहा। सावन के आखिरी सोमवार पर मेले का भी आयोजन किया गया था एवं सुरक्षा के मद्देनजर पुलिसकर्मी तैनात किये गए थे। हिंदू धर्म में सावन के महीने का विशेष महत्व है और पूजा पाठ के लिए यह महीना काफी पवित्र माना गया है। सावन का महीना भगवान भोलेनाथ को समर्पित है।
मान्यता है कि सावन में यदि पूरे विधि-विधान से भोलेनाथ का पूजन किया जाए तो मनुष्य की सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। कहा जाता है कि जब भगवान 4 महीने के लिए निद्रालीन हो जाते हैं तब सृष्टि का संचालन भगवान शिव करते हैं। सावन सोमवार के दिन सुबह स्नान आदि करने के बाद दाएं हाथ में जल लेकर व्रत का संकल्प करें। इसके बाद भगवान शिव का गंगाजल से अभिषेक करें और पंचामृत अर्पित करें। ध्यान रखें कि पंचामृत में दूध, दही, घी, गंगाजल और शहद शामिल होता है। इसके बाद शिवजी को सफेद चंदन का तिलक लगाएं और सफेद फूल अर्पित करें। फिर धतूरा, बेल पत्र और सुपारी अर्पित करें। इसके बाद घी का दीपक जलाएं।
ऐसी मान्यता है कि सावन के महीने में मां पार्वती ने कठोर तप करके भगवान शिव को प्राप्त किया था सावन के महीने में जो भक्त सोमवार का व्रत रखकर भगवान शिव का विधि-विधान से पूजा और जलाभिषेक करते हैं, उन पर भगवान भोले प्रसन्न होते हैं और उनकी हर मनोकामना पूर्ण होती है। इतना ही नहीं, शादी योग्य लड़कियां यदि सावन महीने में सोमवार का व्रत रखकर यदि मां पार्वती और भोले शंकर की उपासना करती हैं तो उनके मनवांछित वर की प्राप्ति होती है।
इस दौरान निशान्त बरनवाल प्रदेश संगठन मंत्री लोक चेतना उत्तर प्रदेश, कृष्णा सिंह मीडिया प्रभारी लोक चेतना जौनपुर, मोनू गोस्वामी ने भी सारनाथ महादेव का जलाभिषेक कर पूजा-अर्चना किया। इस अवसर दीपक गोस्वामी पुजारी प्राचीन सारनाथ मंदिर, केके उपाध्याय लोक चेतना अध्यक्ष, राहुल अवस्थी सहित ग्रामीण व विभिन्न जनपदों के श्रद्धालु उपस्थित रहे।
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